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कोरबा, जिले के हरदीबाजार थाना क्षेत्र अंतर्गत एसईसीएल के खदान प्रभावित ग्राम भिलाईबाज़ार,रलिया में एक भटके हुए हाथी के आ जाने से दहशत फैल गई है। हाथी हरदीबाजार के रास्ते रलिया-सरईपाली नर्सरी होते हुए सुबह करीब 5:30 बजे क्षेत्र में देखा गया। गांव में हाथी के आने की जानकारी सुबह-सुबह कुछ बाइक सवार ग्रामीणों को हुई तो उसे खदेड़ने के लिए पीछे लग गए। हाथी ग्राम रलिया के बाजार के पास बस्ती जाने वाले मुख्य मार्ग से गुजर रहा था कि उसका सामना महिला गायत्री राठौर उम्र 60 वर्ष है. वह सुबह 5 बजे शौच जाने के लिए घर से बाहर निकली थी. घर से बाहर कदम रखते ही सामने हाथी खड़ा था. महिला ने पलट कर भागने का प्रयास किया, लेकिन हाथी ने सूंड से धक्का दे कर उसे गिरा दिया और फिर उसे पैरों से कुचल दिया. हाथी के चिंघाड़ने की आवाज सुनकर आसपास के लोग घटनास्थल पर आए और हाथी को जंगल की ओर खदेड़ा.
आक्रामक होता है अकेला हाथी:दरअसल दल से अलग हुआ हाथी आक्रामक होता है. विभाग में इसे लोनर एलिफेंट के नाम से जाना जाता है. जानकारों के अनुसार दल में नर हाथी के वयस्क होने पर उसे अलग कर दिया जाता है ताकि वह अपने ही दल की मादा हाथी से सम्बन्ध न बना सके. दल से अलग होने के कारण इस हाथी का स्वाभाव चिड़चिड़ा हो जाता है. इस कारण वह अपने सामने आने वाले मानव और सम्पत्ति पर तत्काल आक्रमण कर देता है.
समाचार लिखे जाने तक हाथी को ग्राम नरईबोध की ओर जाते देखा गया है। सूचना उपरांत वन अमला सक्रिय होकर हाथी को खदेड़ने में जुट गया है। खदान प्रभावित इलाके में हाथी के आने की यह दूसरी घटना है। इससे पहले करीब 2 साल पूर्व 5-6 हाथियों का झुंड ग्राम रेकी, नेवसा के पास तक पहुंच गया था।